Sun. May 25th, 2025

गोंडा (डेस्क) कहते हैं पुलिस जनता की रक्षक होती है लेकिन कुछ वर्दीधारियों इस नाम को ऐसे बदनाम किया है कि अब सीधा सादा आम इंसान पुलिस से डरने लगा है…..कुछ पुलिसवालों ने अपनी ड्यूटी को सिर्फ अवैध रूप से पैसे कमाने का जरिया बना लिया है…..आज हम आपको बताएंगे कि कैसे चौकी पर तैनात कुछ पुलिस वाले पब्लिक से वसूली करते हैं….जी हां आज हम गोण्डा जिले के बड़गांव चौकी पर तैनात पुलिस वालो की ऐसी सच्चाई बतायगे जिसे देखकर आप कहेंगे वाह रे पुलिस।
ये पुलिस वाले चौकी में बैठकर ऐसे मोल भाव कर रहे हैं जैसे कि सब्जी मंडी में बैठकर आलू बेच रहे हों

मामला गोंडा नगर कोतवाली स्थित बडगांव चौकी क्षेत्र के बरियार पुरवा का है जहां एक व्यक्ति अपने मकान का निर्माण करा रहा था इस पर उसके पड़ोसी ने चौकी पर शिकायत कर दी कि मकान रास्ते पर बनाया जा रहा है और शिकायत पर बडगांव चौकी के दीवान व अन्य सिपाही पहुंचे और मकान निर्माण को रुकवा दिया।
और फिर शुरू हुआ वसूली का खेल मकान निर्माण दोबारा शुरू करवाने के लिए व्यक्ति से पैसों की मांग की जाने लगी पहले ₹50000 की मांग की गई फिर कम करते करते और हाथ पैर जोड़ते रिक्वेस्ट करने के बाद दयालु पुलिसकर्मियों को दया आ गई उन्होंने डिस्काउंट भी कर दिया घूस की रकम अब 25000 कर दी गई लेकिन मामला तब भी नहीं बैठा दो-चार दिन बाद दोनों पक्षों ने आपस में सुलह कर लिया
आपस में सुलह के बाद में दोनों पक्ष चौकी पर पहुंचे दोनों में आपस में सुलह के बाद भी चौकी इंचार्ज वा उनके दीवान ₹15000 की मांग करने लगे अब जरा सोचिए और अंदाजा लगाइए कि जब गोंडा शहर के अन्दर का ये हाल है तो जो थाने चौकी देहात क्षेत्र में पड़ते हैं उन पर क्या हाल होगा फिलहाल हर चौकी हर थानों पर वसूली बदस्तूर जारी रहती है जब कोई वसूली का वीडियो सामने आता है तो इन पुलिसकर्मियों पर कोई ठोस कार्रवाई न करके इनको लाइन हाजिर कर दिया जाता है इसके कुछ ही दिनों बाद फिर से दोबारा इनको कहीं नई चौकी या थाने पर तैनाती मिल जाती है और ऐसा नहीं की चौकियों पर जमकर हो रहे भ्रष्टाचार की जानकारी किसी को नहीं है इसकी जानकारी सभी को है लेकिन जब भी कोई घूसखोरी का वीडियो सामने आता है तो इनको बचाने का प्रयास पूरा किया जाता है जिसका वीडियो हम आपको दिखा रहे हैं वीडियो में आप साफ देख और सुन सकते है कि चौकी इंचार्ज और चौकी पर तैनात दीवान के द्वारा किस तरह पैसों की मांग की जा रही है साथ ही जो पुलिसवाले इस मामले में गए थे उनका नाम ले कर ये कहा जा रहा है कि हम लोग गए थे जितना आप दे रहे हैं उसमे सब तो वही ले लेंगे तो इसमें हम लोगों को क्या मिलेगा कम से कम कुछ सम्मानजनक कर दीजिए जिससे की हम लोग भी कुछ पा जाएं।
वहीं दूसरे दीवान जी तो कह रहे हैं कि चुनाव में लगभग एक डेढ़ लाख रुपए खर्च हो गए अब यह सब पैसा कहां से निकलेगा बहरहाल गोंडा नगर कोतवाली क्षेत्र मे मकान कब्जा करवाने हो या किसी से कब्जा खाली करवाना हो या किसी का निर्माण रुकवाना हो ऐसे मामलों में पुलिस खासी नजर रखती है क्योंकि ऐसे मामलों में पुलिस को मोटी रकम मिलती है पैसे मिलने के बाद में इन पुलिस कर्मियों को किसी के आदेश की कोई जरूरत नहीं होती है पहले भी ऐसे ही मामलों में दो कोतवाल पर गाज गिर चुकी है बहरहाल लंबे समय से जिस तरीके से गोंडा पुलिस भ्रष्टाचार के दलदल में गोते लगा रही है इससे तो यह साफ है क्या आने वाले समय में इसका खामियाजा शायद सरकार को ही भुगतना पड़े,बहरहाल अब देखना होगा भ्रष्टाचारियों पर पूर्व की तरह ही कार्रवाई होती है या इस बार इन पर कोई कड़ा एक्शन होता है ये देखने वाली बात होगी।

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